जयपुर। पर्सनल लोन की सेटलमेंट के अनुसार अदायगी करने के बाद भी 1,33666 रुपए बकाया निकालने एवं निर्धारित राशि से 2528० रुपए अधिक वसूलने के मामले में जिला उपभोक्ता कोर्ट जयपुर तृतीय ने विपक्षी कोटक महिन्द्रा बैंक लिमिटेड के खिलाफ कड़ी टिप्पणी करते हुए बकाया निरस्त कर दिया. अधिक वसूले रुपए 4 फरवरी 2०1० से अदायगी तक 12 प्रतिशत की दर से ब्याज सहित लौटाने एवं एक लाख 1० हजार रुपए का हर्जाना भी लगाया। इस संबंध में कुंज बिहारी अग्रवाल निवासी हरी मार्ग.मालवीय नगर ने परिवाद पेश किया था। परिवादी के वकील विष्णु शंकर शर्मा ने मंच को बताया कि 29 सितम्बरए 2००9 से सेटलमेंट के अनुसार बैंक को दो लाख रुपए ही लेने थ्ोए लेकिन 25ए28० रुपए और अधिक वसूल कर लिए। राशि व चेक भी नहीं लौटाए और एनओसी भी नहीं दी। सेटलमेंट लेटर में बैंक ने ऋणी को एक दिन पहले राशि जमा कराने का कहा गया। इसे कोर्ट ने असंभव बताते हुए बैंक की बदनियती बताई। कहा कि अत्यन्त ही ख्ोदजनक स्थिति है कि राशि जमा कराने के बाद भी अनुचित राशि वसूल करने के लिए बकाया निकाली। वित्तीय सुविधा प्रदान करने वाली संस्थाओं से इस प्रकार के अनुचित आचरण की अपेक्षा नहीं की जा सकती है।