जयपुर। एसएमएस अस्पताल मÞं जनरल नर्सिंग प्रशिक्षण के लिए प्री-डिग्री साइंस-1989 की फर्जी अंक तालिका बनाकर वर्ष 1995 में प्रवÞश लÞनÞ के मामलÞ मÞं अतिरिक्त मुख्य महानगर मजिस्ट्रेट क्रम-3, जयपुर मेट्रो सरोज मीना नÞ 44 वर्षीय अभियुक्त रहीस अहमद निवासी मिनर्वा टॉकिज के पीछे, जेल के पास, जयपुर को तीन साल की जेल एवं कुल 45 हजार रुपए के जुमार्नें की सजा से दण्डित किया है। कोर्ट ने आदेश में अपराध को समाज विरोधी गंभीर बताते हुए अभियुक्त को आईपीसी की धारा 42० में 2 वर्ष व 5 हजार रुपए, धारा 467 में 3 वर्ष व 1० हजार रुपए, धारा 468 में 3 वर्ष व 1० हजार रुपए, धारा 471 में 3 वर्ष व 1० हजार रुपए एवं धारा 474 में 3 वर्ष के कारावास तथा 1० हजार रुपए के अर्थदण्ड की सजा सुनाई।
इस संबंध में एसएमएस अस्पताल के तत्कालीन अतिरिक्त अधीक्षक नाथू लाल ने 24 मई 1996 को मोतीडूंगरी थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी कि अभियुक्त ने 1995 में नर्सिंग में प्रवेश लिया था। राजस्थान विश्वविद्यालय ने जांच कर अभियुक्त पर शैक्षणिक योग्यता की अंकतालिका में कांट-छांट कर फजीर्वाडा करने की सूचना दी थी। जांच में पता चला कि अभियुक्त ने अंकतालिका के वास्तविक अंक 286 को बढ़ाकर 486 कर लिए और नर्सिंग में प्रवेश ले लिया। कोर्ट में सरकार की ओर से एपीपी सुधाकर प्रधान ने पैरवी की।