जयपुर। राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी विधि एवं मानवाधिकार विभाग के प्रदेशाध्यक्ष सुशील शर्मा के नेतृत्व में अधिवक्ताओं का एक शिष्टमण्डल राज्य के महाधिवक्ता से मिला और राज्य के अधिवक्ताओं की 9 सूत्रीय माँगों का ज्ञापन सौंपा व मुख्यमंत्री से अनुशंषा कर पूरा करवाने की माँग की। उन्होंने कहा कि राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी विधि एवं मानवाधिकार विभाग द्वारा सौंपे गए ज्ञापन में राज्य के अधिवक्ताओं की समस्याओं के संबंध में निम्न माँगों को आने वाले वित्तीय बजट 2017.18 में सम्मिलित करवाने का आग्रह किया गया। राजस्थान एडवोकेट वेलफेयर फण्ड में राज्य सरकार 20 करोड़ का आर्थिक योगदान करें। राजस्थान राज्य उपभोक्ता मंचों के जिला अध्यक्षों के 50 प्रतिशत पद पर अधिवक्ताओं को नियुक्त किया जावें। राजस्थान में राजस्व न्यायालयों में प्रशासनिक सुधार किये जावें व राजस्थान राज्य राजस्व न्यायिक सेवा का गठन किया जावें। भारत के राष्ट्रीय राजमार्ग मंत्री से बात कर अधिवक्ताओं को टोल टैक्स से मुक्त करवाया जावें। क्योंकि अधिवक्ताओं को न्यायालय के कार्य हेतु उच्च न्यायालयोंए सुप्रीम कोर्ट एवं अपीलेट न्यायालयों में कानूनी कार्यों के लिए आना-जाना पड़ता है। अधिवक्ताओं हेतु रियायती दरों पर आवासीय योजनाएं ब्लॉक स्तर तक शुरू की जावें। राज्य में नये न्यायालय खोलने हेतु आवश्यक वित्तीय स्वीकृतियाँ तत्काल प्रदान की जावें तथा निचली अदालतों में वकीलों के चैम्बर हेतु आवश्यक वित्तीय सहायता उपलब्ध करवायी जावें। अधिवक्ताओं को आरपीएससीए मानवाधिकार आयोग, सूचना आयुक्त और विभिन्न ट्रिब्यूनल्स में प्रतिनिधित्व दिया जाए।