nri marriage
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जयपुर। राजस्थान हाईकोर्ट ने ईसाई समाज के विवाहित जोडे का विवाह पंजीकरण नहीं करने पर प्रमुख गृह सचिव और जयपुर नगर निगम के आयुक्त को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है। न्यायाधीश केएस झवेरी और न्यायाधीश वीके व्यास की खंडपीठ ने यह आदेश फादर पॉल की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए दिए। याचिका में अधिवक्ता सुसन मैथ्यू ने अदालत को बताया कि क्रिश्चयन मैरिज एक्ट के तहत होने वाली शादियों का पंजीकरण होना जरूरी है।

जबकि अनिवार्य विवाह पंजीकरण अधिनियम, 2009 के तहत मैरिज रजिस्ट्रार अधिनियम की गलत तरीके से व्याख्या कर ईसाई समाज के विवाहित जोडे का पंजीकरण नहीं कर रहे हैं। वहीं दूसरी ओर अलग से क्रिश्चयन मैरिज रजिस्ट्रार के पद पर किसी की नियुक्ति नहीं हुई है। याचिका में गुहार की गई है कि क्रिश्चयन मैरिज एक्ट के तहत ईसाई समाज के जोडों का विवाह पंजीकरण किया जाए। इसके अलावा जब तक क्रिश्यचन मैरिज रजिस्ट्रार की नियुक्ति नहीं होती, तब तक संबधित कलक्टर को इसके लिए अधिकृत किया जाए। जिस पर सुनवाई करते हुए खंडपीठ ने संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।

 

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