जयपुर। मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने कहा कि भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी ऐसे विरले व्यक्तित्व थे, जिन्होंने राजनीति में रहते हुए हमेशा राजनीति से ऊपर उठकर आचरण किया। उन्होंने कहा कि विशाल व्यक्तित्व के धनी श्री वाजपेयी का जीवन देश, समाज और हम सब के लिए अनुकरणीय है।
राजे राज्यपाल कल्याण सिंह की मौजूदगी में पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी की स्मृति में मंगलवार को महावीर पब्लिक स्कूल में आयोजित प्रार्थना सभा में बोल रही थीं। उन्होंने कहा कि श्री वाजपेयी ने प्रधानमंत्री के पद पर रहते हुए सफल परमाणु परीक्षण कर भारत की शक्ति को दुनिया भर में स्थापित किया। उन्होंने कहा कि जन-जन के प्रिय अटलजी को एक संवेदनशील प्रधानमंत्री, एक पारिवारिक सदस्य और एक विशाल व्यक्तित्व के रूप में कभी भी नहीं भुलाया जा सकता।
मुख्यमंत्री ने कहा कि श्री वाजपेयी उनके लिए पितातुल्य होने के साथ-साथ एक पथ प्रदर्शक भी थे। उन्होंने सार्वजनिक जीवन में संवेदनशील रहने की सीख दी। उन्होंने कहा कि वाजपेयी ने ही उन्हें सार्वजनिक जीवन में लोगों से स्नेह का रिश्ता बनाने की शिक्षा दी।
राजे ने कहा कि कई वर्ष पूर्व जब वाजपेयी और माधवराव सिंधिया ने ग्वालियर से लोकसभा का चुनाव लड़ा, तब मेरी माताजी विजयाराजे सिंधिया ने अटलजी की जीत सुनिश्चित करने के लिए अपने बेटे के खिलाफ नामांकन भरने का निर्णय लिया। इस पर वाजपेयी ने उनको ऐसा करने से स्पष्ट मना करते हुए कहा कि वे पार्टी की जीत की खातिर एक मां और बेटे के बीच दीवार नहीं बन सकते।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वाजपेयी एक ऐसे प्रधानमंत्री थे जिन्होंने देश के विकास को हमेशा प्राथमिकता दी। उन्होंने नदियों को जोड़ने की योजना बनाई और देश में टेलीकाॅम क्षेत्र के विकास के लिए महत्वपूर्ण काम किए। इससे पहले विभिन्न धर्मों और राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों ने भी स्व. वाजपेयी को शब्दांजलि दी। मुख्यमंत्री ने स्व. अटल बिहारी वाजपेयी के चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें श्रृद्धांजलि दी। इस अवसर पर संत समाज और साधुगण, मंत्रिपरिषद के सदस्य, विभिन्न बोर्ड एवं आयोगों के अध्यक्ष एवं सदस्य, सांसद, विधायक, विभिन्न संस्थाओं, संगठनों और राजनैतिक दलों के प्रतिनिधि तथा बड़ी संख्या में विशिष्टजन उपस्थित थे।