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जयपुर। मारपीट के मामले में परिवादी को गिरफ्तार नहीं करने एवं क्रॉस मुकदमें में आरोपियों के खिलाफ चालान पेश करने की एवज में 11 दिसम्बर, 2001 को 1500 रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ ट्रेप हुए सीकर जिले के लक्ष्मणगढ़ थाने में तैनात तत्कालीन हैड कॉन्सटेबल झाबरमल जांगिड निवासी गांव दिनारपुरा-रघुनाथगढ, सीकर को एसीबी मामलों की विश्ोष अदालत क्रम-1 में जज बलजीत सिंह ने गुरुवार को दो साल की जेल एवं 10 हजार रुपए के जुर्माने की सजा से दण्डित किया। 29 अप्रेल, 1970 को वह पुलिस में नियुक्त हुआ एवं 6 फरवरी, 2001 से लक्ष्मणगढ़ थाने में पदस्थापित था।

लोक अभियोजक महेन्द्र कुमार व्यास ने अदालत को बताया कि गांव खींवासर निवासी विनोदकुमार ने 1० दिसंबर, 2००1 को एसीबी चौकी, सीकर में शिकायत दर्ज कराई कि उसका पडौसी शिवकरण के परिवार 15 नवम्बर को झगडा हुआ था। जिसे लेकर दोनों पक्षों की ओर से क्रॉस मुकदमें दर्ज कराये गये थ्ो। दोनों मुकदमों की जांच पुलिस चौकी बलारा में मुंशी झाबरमल कर रहा था। झाबरमल ने प्रकरण में उसे गिरफ्तार नहीं करने और दूसरे पक्ष के खिलाफ आरोप पत्र पेश करने के बदले पांच हजार रुपए की रिश्वत मांगीे। बाद में सौदा 3 हजार रुपए में हुआ था।

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