नयी दिल्ली । केन्द्र सरकार ने दिल्ली में केजरीवाल सरकार को स्वच्छ भारत अभियान के तहत राज्यों को जारी कोष का इस्तेमाल नहीं हो पाने के हवाले से इस अभियान के तहत जारी कामों में तेजी लाने को कहा है, जिससे नागरिक सेवाओं में सुधार हो सके।केन्द्रीय आवास एवं शहरी मामलों के राज्य मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को पत्र लिखकर कहा है कि स्वच्छ भारत कोष के तहत साल 2015 में दिल्ली के लिये आवंटित किये गये 349.75 करोड़ रुपये में से 104.75 करोड़ रुपये जारी कर दिये गये हैं। इसमें से अब तक सिर्फ 32.52 करोड़ रुपये ही खर्च किये गये हैं।मंत्रालय के सूत्रों ने बताया कि पत्र में पुरी ने केजरीवाल से कहा है कि दिल्ली सरकार के लिये जारी राशि का लगभग एक तिहाई हिस्सा ही उपयोग में लाया गया है, शेष राशि अभी तक किसी काम में खर्च ही नहीं की गयी है। उन्होंने इसके मद्देनजर केजरीवाल सरकार से इस मद में राशि के इस्तेमाल के लिये तत्काल प्रयास तेज करने को कहा है।
उन्होंने कहा कि सार्वजनिक शौचालयों की कमी के कारण जनसामान्य को खुले में शौच के लिये मजबूर होना पड़ता है। इससे शहर में स्वास्थ्य और सफाई के लिहाज से गंदगी का वातावरण पैदा होता है। पुरी ने केजरीवाल से स्वच्छ भारत अभियान को लागू करने के लिये प्रभावी नीति और कार्ययोजना बनाने का अनुरोध किया है जिससे इसे दिल्ली में युद्धस्तर पर लागू किया जा सके। पुरी ने दिल्ली में स्वच्छता अभियान को लागू करने की गति को चिंताजनक बताते हुये कहा कि इसके लिये ऐसे कदम उठाने की जरूरत है जिससे नगर निगम, शहरी आश्रय सुधार बोर्ड, लोक निर्माण विभाग और जलबोर्ड भी इस अभियान के प्रति अपनी जिम्मेदारियों का प्रभावी तरीके से निर्वाह करें।
उल्लेखनीय है कि स्वच्छ भारत अभियान के तहत दो अक्तूबर 2019 को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150वीं जयंती तक देश को खुले में शौच की समस्या से मुक्त कराने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। पुरी ने पत्र में केजरीवाल को यह भी याद दिलाया कि दिल्ली में ठोस कचरा प्रबंधन नियमों को लागू किया जाना शेष है। जिसके कारण दिल्ली में कचरे के पहाड़ों का आकार लगातार बढ़ रहा है।