जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सोमवार को मुख्यमंत्री निवास पर प्रदेश के विभिन्न जिलों से आए लोगों की समस्याएं सुनी। करीब साढ़े तीन घंटे तक चली जनसुनवाई में विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधिमंडलों, महिलाओं, बुजुर्गों एवं युवाओं ने गहलोत को अपनी समस्याओं से अवगत कराया। मुख्यमंत्री ने पूरी संवेदनशीलता के साथ सभी की समस्याएं सुनी और अधिकारियों को उनके समाधान के निर्देश दिए।
‘सरकार के निर्णय से महिलाओं को मिली बड़ी राहत‘
नॉन टीएसपी से टीएसपी में चयनित विवाहित महिला शिक्षक संघ के एक प्रतिनिधिमंडल ने मुख्यमंत्री से मुलाकात की तथा टीएसपी क्षेत्र के निवासी से विवाह करने वाली नॉन टीएसपी क्षेत्र की महिलाओं को आरक्षण का लाभ दिये जाने के राज्य सरकार के फैसले पर उनका आभार व्यक्त किया। संघ की अध्यक्ष कल्पना वर्मा, उपाध्यक्ष पूर्वा वोहरा, महासचिव ममता पाटीदार आदि ने अवगत कराया कि सरकार ने ऎसी महिलाओं की व्यथा को समझा है और इस निर्णय से उनकी बड़ी मांग पूरी हुई है।
-बाल विवाह रोकें
जनसुनवाई में टोंक जिले की एक 15 वर्षीय बालिका अपने चाचा के साथ मुख्यमंत्री से मिली और बताया कि उसकी मां की मृत्यु हो चुकी है और पिता उसका बाल विवाह कराना चाहते हैं। श्री गहलोत ने निर्देश दिए कि उसका बाल विवाह रोका जाए। इस पर अधिकारियों ने टोंक जिला कलक्टर और पुलिस अधीक्षक को अवगत कराकर बाल विवाह रोकने के लिए कार्यवाही करने के निर्देश दिए। श्री गहलोत ने बालिका से पूछा कि वह बड़ी होकर क्या बनना चाहती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि मन लगाकर पढ़ाई करो। सरकार आपकी पूरी मदद करेगी। इस दौरान अधिकारियों ने बताया कि यदि वह चाहे तो शारदा बालिका आवासीय विद्यालय में उसे निशुल्क आवासीय शिक्षा दी जा सकती है।
-खेल एवं खिलाडियों को देंगे प्रोत्साहन
जोधपुर की एक उभरती युवा बॉक्सर अर्शी खानम ने भी मुख्यमंत्री से मुलाकात की तथा विभिन्न राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में जीते पदक उन्हें दिखाए। मुख्यमंत्री ने कम उम्र में ही उनकी उपलब्धियों की सराहना की तथा कहा कि राज्य सरकार खेल एवं खिलाड़ियों को प्रोत्साहन देने में कोई कमी नहीं रखेगी।