Indian territory

नयी दिल्ली : राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ प्रचारक इंद्रेश कुमार ने मांग की कि दुनिया में वैमनस्य, कट्टरता और हिंसा फैलाने के कार्यो को देखते हुए संयुक्त राष्ट्र से पाकिस्तान की सदस्यता समाप्त होनी चाहिए ।विश्व हिन्दी परिषद की ओर से यहां आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए इंद्रेश कुमार ने कहा कि चिन्हों, प्रतीकों से जब कोई व्यक्ति या देश पहचान बनाने का प्रयास करता है तब कट्टरता बढ़ती है। जब कोई व्यक्ति या देश चरित्र से पहचान बनाता है तब सदाचार, भाइचारा बढ़ता है।

उन्होंने कहा कि दुनिया में पाकिस्तान को कट्टरता, वैमनस्य और हिंसा के प्रतीक के रूप में जाना जाता है, जबकि हिन्द और हिन्दुस्तान की पहचान उसके चरित्र से मिली है जो दुनिया में समृद्धि और सभ्यता के प्रतीक के रूप में जाना जाता है।राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की राष्ट्रीय कार्यकारणी के सदस्य ने कहा कि पाकिस्तान असभ्य और शैतानी आचरण का प्रतीक बन गया है । ऐसे में संयुक्त राष्ट्र से पाकिस्तान की सदस्यता समाप्त होनी चाहिए ।कुमार ने कहा कि पिछले वर्ष जब डोकलाम की घटना घटी तब चीन ने भारत को चुनौती दी, युद्ध का जिक्र किया गया । लेकिन भारत ने कहा कि वह संघर्ष नहीं बल्कि संवाद का पक्षधर है । देश के नागरिकों ने चीनी माल का बहिष्कार शुरू किया और सभी के सम्मिलित प्रयासों के परिणामस्वरूप भारत ने बिना युद्ध के चीन को पीछे हटने पर मजबूर किया ।

महाराष्ट्र में पिछले दिनों हुई हिंसक घटनाओं का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि देश में जाति, भाषा, पंथ के आधार पर बांटने, भड़काने और तोड़ने के प्रयास कुछ वर्गो की ओर से किये जा रहे हैं । दो तरह की धाराएं चल रही है, एक भारत तोड़ो और दूसरा भारत जोड़ो है ।उन्होंने कहा कि भारत को तोड़ने का प्रयास करने वालों को सद्बुद्धि आए और वे विभाजनकारी प्रयासों को छोड़े, ऐसी हमारी कामना है ।इस समारोह में केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे, सांसद डा. अरूण कुमार आदि ने भी हिस्सा लिया ।

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