नयी दिल्ली: नोटबंदी के बाद आयकर रिटर्न फाइल करने की संख्या में 17 प्रतिशत का इजाफा हुआ है। वहीं व्यक्तिगत रिटर्न फाइल करने वालों की श्रेणी में 23 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार वित्त वर्ष 2016-17 के लिये इस साल 31 अक्तूबर तक 3,21,61,320 ई-रिटर्न 31 अक्तूबर तक फाइल किये गये। यह संख्या वित्त वर्ष 2017-18 में अक्तूबर के अंत तक बढ़कर 3,78,20,889 पहुंच गयी। यह बताता है कि आयकर रिटर्न आनलाइन भरने वाले लोगों की संख्या में 17.60 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
आयकर विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि कर रिटर्न भरने वालों की संख्या में वृद्धि का कारण पिछले साल आठ नवंबर को 500 और 1,000 रुपये के नोटों को चलन से हटाया जाना है। व्यक्तिगत तौर पर कर रिटर्न ई-फाइल करने वालों की श्रेणी में 23.28 प्रतिशत की वृद्धि हुई। आंकड़े के अनुसार पिछले साल आईटीआर-1 आनलाइन 1,69,04,759 लोगों ने भरे जबकि इस साल यह संख्या बढ़कर 2,08,40,303 हो गयी। आईटीआर-1 या सहज फार्म भरने वाले को व्यक्तिगत करदाता की श्रेणी में रखा जाता है। वेतन और अन्य स्रोतों से आय दिखाने के लिये भरे जाने वाले आईटीआर-2ए फार्म आनलाइन भरने वालों की संख्या में 21.78 प्रतिशत की वृद्धि हुई। इस साल अक्तूबर तक इस श्रेणी में 28,82,189 रिटर्न फाइल किये गये। यह संख्या पिछले साल इसी अवधि में 23,66,687 थी।