जयपुर। लोन के एवज में चौदह साल पहले पांच सौ रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार अनुसूचित जाति एवं जनजाति वित्त और विकास निगम जयपुर के तत्कालीन स्टेनो व प्रोजेक्ट मैनेजर त्रिलोक चन्द रैगर निवासी मुरलीपुरा स्कीम जयपुर को एसीबी मामलों की विशेष अदालत क्रम-3 जज सतीश कुमार ने 3 साल की जेल एवं 20 हजार रुपए के जुर्माने की सजा से दण्डित किया है।
इस संबंध में मनोहरपुर-जयपुर निवासी कृष्ण कुमार यादव ने 12 जुलाई 2004 को एसीबी में शिकायत दी थी कि उसका निगम से 40 हजार रुपए का ऋण स्वीकृत हुआ था। 35 हजार रुपए की लोन राशि देते समय स्टेनो त्रिलोक चन्द ने एक हजार रुपए रिश्वत मांगे और 500 रुपए ले लिए। शेष 5 हजार रुपए पूरी रिश्वत नहीं देने पर परिवादी को नहीं दिए। एसीबी ने 13 जुलाई को 500 रुपए लेते त्रिलोक को रंगे हाथ ट्रेप कर 16 जुलाई को मुकदमा दर्ज कराया। तत्कालीन निदेशक देराश्री से अभियोजन स्वीकृति लेकर एक फरवरी 2006 को चालान पेश किया।
22 अगस्त, 2009 को चार्ज सुनाए। अदालत में एसीबी ने 16 गवाहों के बयान करवाए। परिवादी कृष्ण कुमार यादव गवाही के समय बयान से पलट गया। कोर्ट ने उसे पक्षद्रोही घोषित किया। एसीबी ने परिवादी के खिलाफ कार्यवाही करने के लिए अदालत में प्रार्थना पत्र दायर किया है।