जयपुर। करीब बारह साल पहले समझौता एक्सप्रेस में हुए बम विस्फोट मामले में आरोपी हिन्दूवादी नेता स्वामी असीमानंद समेत चार आरोपी बरी हो गए हैं। एनआईए पंचकूला विशेष अदालत ने स्वामी असीमानंद समेत सभी आरोपियों को बरी करने के आदेश सुनाए। उधर, इस मामले में आरोपियों को बरी करने के आदेश के बाद पाकिस्तान ने कड़ी आपत्ति जताई है। पाकिस्तान में भारतीय उच्चायुक्त को बुलाकर फैसले पर आपत्ति जताई। भारत ने भी जवाब दिया है कि सबूतों के आधार पर कोर्ट ने फैसला सुनाया है। पाकिस्तान ने मामले में सहयोग नहीं किया। गवाही के लिए गवाह नहीं भेजे।
कोर्ट ने पाकिस्तानी गवाह राहिला वकील की याचिका को स्वीकार नहीं करते हुए इस मामले में आरोपी असीमानंद, कमल चौहान, राजिंदर चौधरी और लोकेश शर्मा को बरी करने के आदेश दिए। एनआईए ने इन्हें आरोपी बताते हुए चालान पेश किया था। इन पर हत्या, देशद्रोह जैसे संगीन धाराओं में चालान पेश किया गया। गौरतलब है कि 18 फरवरी, 2007 को हरियाणा के पानीपत के पास समझौता एक्सप्रेस ट्रेन में बम धमाके हुए, जिसमें 68 लोग मारे गए। मरने वालों में 43 पाकिस्तान के नागरिक थे। दस भारतीय और पन्द्रह अज्ञात लोग थे। बम विस्फोट दो अनारक्षित कोच में हुए। चार बम प्लांट किए गए थे, जिसमें से दो में ही ब्लास्ट हुए।