नयी दिल्ली । केन्द्रीय आवास एवं शहरी मामलों के राज्य मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि सभी को अपना घर मुहैया कराने के लिये शुरू की गयी प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत शहरी क्षेत्रों के लिये अब तक 30.76 लाख सस्ते आवास के निर्माण को मंजूरी मिल गयी है। इनमें से 4.13 लाख आवास बन कर तैयार भी हो गये हैं। पुरी ने आज शहरी मिशन के तहत पीएम आवास योजना और स्वच्छ भारत अभियान को लागू करने से संबंधित कार्यशाला में यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि शहरी क्षेत्रों के लिये 25 जून 2015 को शुरू की गयी पीएम आवास योजना के तहत 15.65 लाख घरों का निर्माण कार्य विभिन्न स्तरों पर चल रहा है। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्रों के भौगोलिक और सामाजिक आर्थिक विकास को देखते हुये आवास एवं अन्य मूलभूत जरूरतों की आपूर्ति पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। पुरी ने कहा कि शहरी क्षेत्रों में रोजगार, कारोबार और सेवा क्षेत्र की लगातार बढ़ती मांग को देखते हुये आवास की जरूरत भी तेजी से बढ़ी है। इसके मद्देनजर आवास क्षेत्र देश के आर्थिक विकास का इंजन बन गया है। यह न सिर्फ भविष्य में जनसामान्य की आवास जरूरतों की पूर्ति करेगा, बल्कि वर्तमान समय में रोजगार और राजस्व के अवसर भी मुहैया करा रहा है। इससे लोगों के जीवन स्तर में सुधार को स्पष्ट तौर पर महसूस किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि स्थानीय स्तर पर आवास की मौजूदा जरूरत 1.2 करोड़ आंकी गयी है। इसे पूरा करने के लिये सरकार ने सस्ते आवास योजना के तहत विभिन्न श्रेणी के घरों के क्षेत्रफल और अन्य मानकों में माकूल बदलाव करते हुये घर खरीदने वालों को कर में छूट देने सहित अन्य प्रोत्साहन देने की पहल की है। जिससे अधिक से अधिक संख्या में खरीददार और निवेशकों को इस योजना से जुड़ने के लिये आकर्षिक किया जा सके। पुरी ने कहा कि सरकार ने इस योजना में निजी और सार्वजनिक क्षेत्र की भागीदारी (पीपीपी) सुनिश्चित करने के लिये आठ परियोजनायें शुरु की हैं। इनमें बेहतर निर्माण तकनीक की मदद से कम लागत पर बेहतर गुणवत्ता वाले घरों का निर्माण किया जा रहा है।