कालबुरगी (कर्नाटक), भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने क्षेत्र के पिछड़े इलाकों में विकास कार्यों पर ध्यान केंद्रित करने के बजाय 18वीं शताब्दी के मैसूर के शासक टीपू सुल्तान की जयंती मनाने पर कर्नाटक की कांग्रेस सरकार की आलोचना की है। शाह ने अन्य पिछड़ा वर्गों (ओबीसी) से आगामी चुनाव में सिद्धारमैया सरकार को उखाड़ फेंकने की अपील की। भाजपा अध्यक्ष ने कहा, ‘‘हैदराबाद-कर्नाटक क्षेत्र हैदराबाद और मुंबई के बीच आता है। यह ऐसी जगह पर स्थित है कि अगर यहां औद्योगिक कॉरीडोर बनाया जाए तो इससे क्षेत्र के लाखों लोगों को रोजगार मिलेगा। लेकिन वो (कांग्रेसी नेता) ऐसा नहीं करेंगे।’’ भाजपा नेता ने दावा किया कि भाजपा की पूर्ववर्ती बी एस येदियुरप्पा सरकार ने क्षेत्र के विकास के लिये काम किया। मल्लिकार्जुन खड़गे और धरम सिंह समेत क्षेत्र से आने वाले कांग्रेसी नेताओं पर निशाना साधते हुये शाह ने कहा, ‘‘वो (कांग्रेस) कुछ नहीं करेगी, सिर्फ टीपू सुल्तान, टीपू सुल्तान, टीपू सुल्तान…अब वे बहमनी साम्राज्य का जश्न मनाने की भी बात कर रहे हैं…मैं नहीं जानता कि उन्हें क्या हुआ है। वे कुछ और नहीं देखते।’’
कई बार चुने जाने के बावजूद दो नेताओं ने क्षेत्र के विकास के लिये बेहद कम काम किया। उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘उन्होंने अपने बच्चों की मदद के अलावा कुछ नहीं किया।’’ बहमनी सल्तनत काल की कला और संस्कृति का जश्न मनाने की सरकार की कथित योजना का भाजपा विरोध कर रही है। उसके नेता मानते हैं कि बहमनी शासक ‘‘हिंदुओं के हत्यारे’’ और ‘‘मंदिरों को नष्ट’’ करने वाले थे। कालबुरगी जिले के प्रभारी मंत्री शरन प्रकाश पाटिल ने कहा कि यह एक दिन का आयोजन होगा जबकि मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा कि उन्हें ऐसे किसी प्रस्तावित आयोजन की जानकारी नहीं है। तीन दिन के उत्तरी कर्नाटक के दौरे पर गए भाजपा अध्यक्ष शाह ओबीसी समुदाय के नेताओं के साथ बातचीत कर रहे थे। इस साल अप्रैल-मई में प्रदेश में चुनाव प्रस्तावित हैं।