Trial of Dr. Abdul Hameed's Death Reference upto High Court hearing till 26

नई दिल्ली. जम्मू-कश्मीर के हैदरपोरा में सुरक्षाबलों के साथ एनकाउंटर में मारे गए आतंकी आमिर माग्रे का शव कब्र से बाहर निकालने की मांग सुप्रीम कोर्ट ने ठुकरा दी है। आमिर के पिता लतीफ ने याचिका दाखिल कर मांग की थी कि विधिवत अंतिम संस्कार के लिए उसके बेटे के शव को निकालने की मंजूरी दी जाए। सोमवार को जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस बीएस पारदीवाला की बेंच ने सुनवाई करते हुए कहा कि शव के विघटन का आदेश तब तक नहीं दे सकते, जब तक यह न दिखे कि इससे न्याय का हित हो रहा है। कोर्ट ने आगे कहा कि इस बात का कोई सबूत नहीं है कि आमिर के शव का प्रशासन ने सही तरीके से अंतिम संस्कार नहीं किया। आमिर के पिता की भावनाओं का हम सम्मान करते हैं, लेकिन कोर्ट कानून के अनुसार काम करती है। बेंच ने इसके साथ ही कहा- पिता लतीफ को आमिर के कब्र स्थल पर प्रार्थना करने की अनुमति दी जाती है। हैदरपोरा में 15 नवंबर 2021 को सुरक्षाबलों के साथ मुठभेड़ के दौरान आमिर और उसके 3 अन्य साथी मारे गए थे। चारों को पुलिस ने श्रीनगर से 70 किलोमीटर दूर हंदवाड़ा में दफना दिया था। वहीं एनकाउंटर के बाद आमिर के परिवार ने हाईकोर्ट का रुख किया था। इस मामले में जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट की सिंगल बेंच ने मई 2022 में आमिर के शव निकालने की अनुमति दी थी, लेकिन प्रशासन ने तुरंत डबल बेंच में अपील कर दी। इस पर हाईकोर्ट की डबल बेंच ने सिंगल बेंच के फैसले को पलट दिया और कहा कि शव को बाहर नहीं निकाला जा सकता है। इसके बाद याचिकाकर्ता ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की।

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