नई दिल्ली: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने उत्तर कोरिया का अप्रत्यक्ष तौर पर आगाह किया कि किसी भी तानाशाह को अमेरिका को कम आंकना नहीं चाहिए। तोक्यो के पश्चिम में योकोता एयर बेस पर उत्साहपूर्ण सेवा कर्मियों को संबोधित करते हुए ट्रंप ने कहा ‘‘किसी को भी, किसी भी तानाशाह, सरकार और राष्ट्र को अमेरिका के संकल्प को कम आंकना नहीं चाहिए।’’ ट्रंप ने उन्हें दी गई सैन्य जैकेट पहन रखी थी। उन्होंने कहा, ‘‘पूर्व में उन्होंने हमें कम आंका। यह उनके लिए अच्छा नहीं रहा। हम अपने लोगों, आजादी और हमारे महान अमेरिकी ध्वज की रक्षा में कभी नहीं हारेंगे, कभी नहीं लड़खड़ाएंगे और कभी हिम्मत नहीं हारेंगे।’’ ट्रंप की यह यात्रा ऐसे समय में हो रही जब उत्तर कोरियाई संकट चरम पर है।
अमेरिकी राष्ट्रपति की एशिया यात्रा का पहले चरण जापान और दक्षिण कोरिया है। इन दोनों देशों को उत्तर कोरिया के साथ संघर्ष होने का सबसे ज्यादा खतरा है। ट्रंप अपनी पत्नी मेलानिया के साथ जापान पहुंचे। विमान में संवाददाताओं से बातचीत में उन्होंने बताया कि वह यात्रा के दौरान रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात कर सकते हैं। ट्रंप ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि ऐसी संभावना है कि हम पुतिन के साथ मुलाकात करेंगे। हम उत्तर कोरिया पर पुतिन की मदद चाहते हैं और हम कई नेताओं से मुलाकात करेंगे।’’ उन्होंने कहा कि उत्तर कोरिया ‘‘हमारे देश और दुनिया के लिए बड़ी समस्या है और हम इसे हल करना चाहते हैं।’’ हालांकि उन्होंने उत्तर कोरियाई लोगों के प्रति नरमी दिखाई।
उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि वे महान लोग हैं। वे मेहनती, नरम और जितना दुनिया जानती या समझती है उससे ज्यादा सहृदय हैं। वे महान लोग हैं।’’ ट्रंप अब इसके बाद जापान के प्रधानमंत्री अपने ‘‘दोस्त’’ शिंजो आबे के साथ गोल्फ खेलने जाएंगे। अमेरिकी राष्ट्रपति के पहुंचने पर आबे ने कहा, ‘‘मैं राष्ट्रपति ट्रंप के साथ भरोसे और दोस्ती के संबंधों पर आधारित जापान-अमेरिका गठबंधन को और मजबूत करना चाहता हूं।’’ दक्षिण कोरिया के बाद ट्रंप चीन जाएंगे जहां वह शी चिनफिंग से मुलाकात करेंगे।