-मुख्यमंत्री सलाहकार परिषद की बैठक
जयपुर। मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे ने आह्वान किया कि प्रदेश के युवा अपने नए विचारों के साथ बेहतर एवं प्रभावी सर्विस डिलिवरी और त्वरित गति से कार्याें को पूरा करने के सरकार के प्रयासों में आगे बढ़कर योगदान दें। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ’चैलेंज फोर चेंज’ प्लेटफार्म विकसित करना चाहती है, जहां लोग सरकार के समक्ष मौजूद चुनौतियों का समाधान उपलब्ध करा सकें। इससे नवाचारों को बढ़ावा देने वाला एक प्रभावी तंत्र विकसित होगा और तकनीक का उपयोग भी बढ़ेगा। उन्होंने कहा कि विकास योजनाओं और आमजन को लाभ पहुंचाने के लिए नए विचारों का हमेशा स्वागत है। राजे शनिवार को मुख्यमंत्री कार्यालय में मुख्यमंत्री सलाहकार परिषद की चैथी बैठक को सम्बोधित कर रही थीं। उन्होंने कहा कि पिछले तीन साल में राजस्थान ने विभिन्न क्षेत्रों में उल्लेखनीय प्रगति की है। प्रदेश की इस प्रगति को दिशा देने में परिषद के सदस्यों द्वारा दिए गये बहुमूल्य सुझावों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है।
हमारे समर्पित प्रयासों से विकास को मिली नई रफ्तार मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार के नीतिगत फैसलों, सुधारों एवं समर्पित भाव से किए गए प्रयासों से प्रदेश के विकास को नई रफ्तार मिली है। इस अवधि में राजस्थान की गरीबी को कम करने की दर राष्ट्रीय औसत से भी अच्छी रही है। विभिन्न मानव विकास सूचकांकों में राजस्थान को उत्तरोत्तर प्रगति करने वाले राज्य के रूप में सराहा गया है। इंजीनियरिंग शिक्षा को आधुनिक एवं विश्वस्तरीय बनाएंगे श्रीमती राजे ने कहा कि प्रदेश में उच्च तकनीकी शिक्षा खासकर इंजीनियरिंग काॅलेजों के विकास के लिए योजना तैयार की जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में 5 से 6 ऐसे विश्व स्तरीय इंजीनियरिंग काॅलेज होने चाहिए जहां युवाओं को आधुनिक इंजीनियरिंग शिक्षा के बेहतर अवसर उपलब्ध हों। उन्होंने इसके लिए एक रोडमैप तैयार करने के भी निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि आयोजना विभाग को प्रदेश में हो रही प्रगति के बारे में विभिन्न विकास मानकों के अनुसार नियमित सर्वेक्षण करवाने को भी कहा। उन्होंने राजस्थानी कृषि और हस्तशिल्प उत्पादों के विपणन को दिल्ली स्थित बीकानेर हाउस में संडे बाजार के माध्यम से प्रोत्साहन का सुझाव दिया। सफल रहा फेस्टिवल आॅफ एजुकेशन का आयोजन श्रीमती राजे ने कहा कि हाल ही जयपुर में दक्षिण-पूर्व एशिया का पहला फेस्टिवल आॅफ एजुकेशन आयोजित किया गया जो उम्मीद से ज्यादा सफल रहा। उन्होंने मुख्यमंत्री सलाहकार परिषद के सदस्यों को राज्य की राजधानी को मिलने वाली तीन सौगातों, द्रव्यवती नदी सौन्दर्यकरण परियोजना, झालाना वन क्षेत्र में लेपर्ड सफारी और राष्ट्रीय राजमार्ग विकास प्राधिकरण के सहयोग से जयपुर रिंग रोड परियोजना के बारे में जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की आय दुगुनी करने की दिशा में कई कदम उठाए गए हैं। जयपुर में ‘ग्राम‘ के सफल आयोजन के बाद कोटा में भी ग्राम ने सफलता की ऊंचाइयां छुई। उन्होंने कहा कि ऊर्जा क्षेत्र में हमारा लक्ष्य मार्च 2018 तक प्रदेश के सभी गांव-ढाणियों में बिजली पहुंचाना है। मुख्यमंत्री सलाहकार परिषद के उपाध्यक्ष सीएस राजन ने अपने प्रस्तुतीकरण में बताया कि नीति आयोग ने माइक्रो इरिगेशन के क्षेत्र में राजस्थान को पहला स्थान दिया है, जबकि कौशल विकास में राजस्थान पिछले 3 सालों से प्रथम है। इससे पहले मुख्य सचिव अशोक जैन ने बैठक के सभी प्रतिभागियों का स्वागत किया और बैठक की रूपरेखा प्रस्तुत की।